राजस्थान के लोग अपने ऊंटों से बहुत ज्यादा प्यार करते हैं. उसे अपने बच्चे की तरह पालते हैं. लेकिन जब ऊंट की मौत हो जाती है तो उसकी लाश के पास ना तो वो खुद जाते हैं और ना ही किसी और को जाने की सलाह देते हैं.
दरअसल, मरने के बाद ऊंट की लाश एक बम की तरह हो जाती है. ऐसे में आपकी एक चूंक और ऊंट की डेड बॉडी बम की तरह ब्लास्ट हो सकती है. चलिए जानते हैं कि आखिर मरने के बाद ऊंट के शरीर में ऐसा क्या होता है कि वह बम तकी तरह हो जाती है.मरने के बाद ऊंट का शरीर बम बन जाता है
मरने के बाद ऊंट के कूबड़ में मौजूद चर्बी बहुत दिनों तक वैसी ही बनी रहती है. बाद में धीरे-धीरे इससे मेथेन गैस बनने लगती है. इसके अलावा जब ऊंट का शरीर अंदर से सड़ने लगता है तब उसके अंदर कार्बन डाइऑक्साइड, नाइट्रोजन और ऐसे कई सारी खतरनाक गैसें बनने लगती हैं ऊंट की आंतों में और शरीर में भरने लगती है.इससे ऊंट का पेट फूल कर एक दम टाइट हो जाता है. इस स्थिति में अगर किसी ने ऊंट के शरीर से छेड़-छाड़ की तो ये बुरी तरह से फट सकता है. इसका बिस्फोट इतना भयंकर होता है कि अगर इसकी चपेट में नजदीक से कोई आ जाए तो वो बुरी तरह से घायल हो सकता है.और भी जानवरों के साथ ऐसा होता हैऐसा नहीं है कि ये सिर्फ ऊंट के साथ ही होता है. किसी भी जानवर की लाश अगर खुले में छोड़ दी जाए तो गर्मी और धूप में पड़े-पड़े वो गुब्बारे की तरह फूल जाएगी और फिर बम की तरह फट जाएगी.
यही वजह है कि लोग जानवरों के मरने के बाद उन्हें मिट्टी में दफ्न कर देते हैं. ऐसा करने से बॉडी धीरे-धीरे मिट्टी में ही डीकम्पोज हो जाती है.इसलिए जब भी आप किसी जानवर की लाश खुले में देखें तो भूल कर भी उसके पास ना जाएं, ऐसा करना आपके लिए जानलेवा हो सकता है. दरअसल, जब किसी जानवर के शरीर में विस्फोट होता है तो उसके शरीर की हड्डियां और मांस के बड़े-बड़े चीथड़े आपको घायल कर सकते हैं.