भानुप्रतापपुर, 11 दिसंबर। शीतकाल की शुरूआत होते ही क्षेत्र के ग्रामीण अंचल में मुर्गा बाजार में लगने वाले सट्टे में तेजी आ रही है। भानुप्रतापपुर एवं दुर्गुकोंदल ब्लॉक के गांवों में विगत कई दिनों से मुर्गा बाजार में जुआ व सट्टा धडल्ले से चल रहा है। इस कारोबार में संलिप्त ठेकेदार बाहर से आकर गांव के पारम्परिक रीति रिवाजों से छेड़ छाड़ करते हुए मुर्गो की लडाई में लोगों से दाव लगवाते हैं और लाखों कमा कर चले जाते हैं। संबंधित विभाग द्वारा इस ओर कोई कार्रवाई न करना समझ से परे है।
ज्ञात हो कि भानुप्रतापपुर में रविवार व गुरुवार को, संबलपुर में बुधवार व शनिवार को, कच्चे में सोमवार को व इसी तरह आस पास के गांवों के प्रति सप्ताह मुर्गा बाजार आयोजित किया जा रहा है। इन मुर्गा बाजारो में मुर्गो की लडाई के अलावा जुआ व सट्टा के शौकीन भी लाखों का दाव लगाने आते हैं। प्रत्येक मुर्गा बाजार में दिनभर में 70 से 80 मुर्गो की लडाई होती है और हर लड़ाई में हजारों का दांव लगता है। जो मुर्गा लड़ाई जीतता है उसके मालिक को हारने वाले मुर्गे को सौप दिया जाता है। यह परंपरा क्षेत्र के लोग वर्षो से चलाते आ रहे हैं। लेकिन वर्तमान में इस परंपरा को सटोरियों व जुआरियों की नजर लग गयी है। जो शौकीन पहले मुर्गे की लड़ाई देखने आते थे वे अब इस बाजार में जुआ व सट्टा खेलने आते हैं। हर बाजार में सैकड़ों की संख्या में भीड़ जुटती है और लाखों रूपयों का कारोबार होता है। इसके चक्कर में आकर अनेक लोग बर्बाद होने की कगार पर पहुँच चुके है। संबंधित विभाग द्वारा मुर्गा बाजारों में जुआ व सट्टा लगाने वालों के ऊपर कडी कार्रवाई की आवश्यकता है।
भानुप्रतापपुर थाना प्रभारी नरेश दिवान का कहना है कि मुर्गा लड़ाई करने के लिए प्रतिबंद नहीं है लेकिन इसमें जो जुआ खेले जाने की सूचना मिल रही है इस पर तत्काल कार्यवाही किया जाएगा।