: डॉलर के मुकाबले रुपया ऑलटाइम लो पर जाकर क्लोज हुआ है. करेंसी मार्केट में एक डॉलर के मुकाबले रुपया 84.02 (प्रॉविजनल) के लेवल पर बंद हुआ है. ये पहला मौका है जब एक डॉलर के मुकाबले रुपया 84 रुपये के नीचे जा फिसला है. खराब ग्लोबल संकेतों निवेशकों के जोखिम वाले एसेट्स से दूसरी बनाये रखने के चलते घरेलू शेयर बाजार में बुधवार 4 सितंबर 2024 को तेज गिरावट देखने को मिली जिसके चलते रुपये में ये ऐतिहासिक गिरावट देखने को मिली है.
पीटीआई ने सूत्रों के हवाले से बताया कि, इंटरनेशनल मार्केट्स में दूसरे प्रमुख करेंसी के मुकाबले डॉलर कमजोर हुआ है तो दूसरी तरफ कच्चे तेल के दामों में भी बड़ी गिरावट आई है जिसके चलते डॉलर के मुकाबले रुपये में आई ये कमजोरी कम देखने को मिल रही है. वर्ना रुपये में बड़ी गिरावट देखने को मिल सकती थी. ब्रेंट क्रूड ऑयल 73 डॉलर प्रति बैरल तो डब्ल्यूटीआई क्रूड ऑयल 70 डॉलर प्रति बैरल के नीचे जा फिसला है.
इंटरबैंक फॉरेन एक्सचेंज मार्केट में बुधवार को एक डॉलर के मुकाबले रुपया 83.96 के लेवल पर खुला और पूरे दिन 83.95 से लेकर 84.01 की रेंज में ट्रेड करता रहा. लेकिन ट्रेडिंग के आखिरी घंटों में डॉलर के मुकाबले रुपये में तेज गिरावट आई और ये 84.02 के लेवल पर जाकर सेटल हुआ है जो पिछली क्लोजिंग लेवल 83.98 के लेवल से 4 पैसे कमजोर है. लेकिन पहली बार रुपया एक डॉलर के मुकाबले 84 के लेवल के नीचे आ गया है. कमजोर घरेलू मार्केट और ग्लोबल मार्केट में उठापटक के चलते रुपये पर ये दबाव देखने को मिला है.
रॉयटर्स ने प्राइवेट बैंक के ट्रेडर के हवाले से बताया कि, अब ये स्पष्ट है कि सेंट्रल बैंक आरबीआई रुपये को गिरने से बचाने में जुटा है. उन्होंने बताया कि 84 के लेवल के रुपये के नीचे जाने पर बुल्स एक्टिव हो जायेंगे जिसके बाद एक डॉलर के मुकाबले रुपया 84.25 के लेवल तक गिर सकता है. पिछले महीने भी रुपये को गिरने से बचाने के लिए आरबीआई ने कई मौकों पर हस्तक्षेप किया था.