पंजाब के किसानों के दिल्ली मार्च का आज चौथा दिन है. शंभू बॉर्डर पर आज फिर बवाल मच गया. जब किसानों ने बैरिकेडिंग की ओर बढ़ने की कोशिश की तो हरियाणा पुलिस ने उन पर आंसू गैस के गोले दागे. इससे कई किसान घायल हो गए हैं. संयुक्त किसान मोर्चा और मजदूर यूनियन की ओर से ग्रामीण भारत बंद का आह्वान किया गया है. इस बंद के दौरान गांवों में दुकानें बंद कर दी गई हैं और किसानों से खेतों में काम न करने को कहा गया है.इस बीच, एमएसपी की कानूनी गारंटी सहित किसानों की मांगों को स्वीकार करने के लिए सरकार पर दबाव बनाने के लिए संयुक्त किसान मोर्चा के ‘भारत बंद’ के दौरान बसें सड़कों से नदारद रहीं.
हालांकि हरियाणा में बंद के आह्वान पर आंशिक प्रतिक्रिया हुई, लेकिन पंजाब में कई स्थानों पर बाजार और व्यावसायिक प्रतिष्ठान बंद रहे.पंजाब, हरियाणा और हिमाचल प्रदेश में बाजार बंद हैं. इस भारत बंद के आह्वान के बाद कई अन्य संगठनों द्वारा भी समर्थन दिया है. इस बंद को पंजाब रोडवेज, पीआरटीसी और पनबस के कर्मचारी भी समर्थन दे रहे हैं
पड़ोसी राज्य हरियाणा में भारतीय किसान यूनियन (चारुनी) के कार्यकर्ताओं द्वारा दोपहर 12 बजे से 3 बजे तक हरियाणा के कई टोल प्लाजा को फ्री करा दिया गया. बता दें कि बीकेयू एकता उगराहां ने कल से राज्य भर में टोल फ्री करने की घोषणा की है.विभिन्न गुटों के प्रति निष्ठा रखने वाले किसानों ने कई स्थानों पर प्रदर्शन किया और पठानकोट, तरनतारन, बठिंडा और जालंधर में राष्ट्रीय राजमार्गों को भी अवरुद्ध कर दिया।
उन्होंने कई टोल प्लाजा की घेराबंदी भी की और उनकी मांगें नहीं मानने पर केंद्र के खिलाफ नारे लगाए.हरियाणा के हिसार में, हरियाणा रोडवेज की बस सेवाएं ठप रहीं, क्योंकि इसके कर्मचारियों ने भी एसकेएम के भारत बंद के आह्वान का समर्थन किया. रोडवेज कर्मचारियों ने बस स्टैंड परिसर में प्रदर्शन किया और अपनी मांगों के समर्थन में नारे लगाये. कुरूक्षेत्र में बंद के आह्वान पर कोई प्रतिक्रिया नहीं हुई. दुकानें और बाजार खुले रहे और बसें चलती रहीं.बंद का इन राज्यों पर पड़ा प्रभावइस बीच, भारतीय किसान यूनियन (चारुनी) के सदस्यों ने हरियाणा के कई टोल प्लाजा पर धरना दिया.
पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कुछ हिस्सों में भी विरोध प्रदर्शन हुए. भारतीय किसान यूनियन (बीकेयू) नेता राकेश टिकैत ने मुजफ्फरनगर में दिल्ली-देहरादून राष्ट्रीय राजमार्ग पर बागोवाली क्रॉसिंग पर आयोजित विरोध प्रदर्शन में भाग लिया.टिकैत ने संवाददाताओं से कहा, “हम स्वामीनाथन आयोग की रिपोर्ट को लागू करने, ऋण माफी आदि मांगों को लेकर विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं.”
यह पूछे जाने पर कि क्या उनकी दिल्ली जाने की कोई योजना है, टिकैत ने कहा, “शनिवार को सिसौली (मुजफ्फरनगर) में एक बैठक निर्धारित है, जहां भविष्य की रणनीति की योजना बनाई जाएगी.”गए.”भारती किसान यूनियन (राजेवाल), भारतीय किसान यूनियन (दकुंडा), भारतीय किसान यूनियन (लाखोवाल), भारतीय किसान यूनियन (कादियान) और कीर्ति किसान यूनियन सहित कई किसान संगठनों ने बंद में भाग लिया.