नई दिल्ली:– हर माता-पिता बच्चे के मुंह से पहला शब्द सुनने के लिए बेकरार रहते हैं। उनकी इच्छा होती है कि बच्चा सबसे पहले मां या पापा बोले। आमतौर पर होता भी ऐसा ही है। क्योंकि माता- पिता बच्चे को शुरुआत में यही दो शब्द बोलना सिखाते हैं। इन शब्दों का बार-बार बच्चे के सामने उपयोग करने से सबसे पहले बच्चा मां या पापा बोलने लगता है। हालांकि, प्रेमानंद महाराज ने पेरेंट़स को सलाह दी है कि बच्चे को सबसे पहले भगवान का नाम बोलना सिखाना चाहिए। इससे बच्चा संस्कारवान और गुणकारी बनेगा।
अगर बच्चा बोलना सीखता है, तो उसे सबसे पहले भगवान का नाम बुलवाना चाहिए। आप उसे राधा, राम, शिव , कृष्ण , हरी, जो भी आपको अच्छा लगे, वो नाम बुलवा सकते हैं।
उन्होंने बताया कि पहले के समय में जब बच्चे को बोलना नहीं आता था, तब उसकी जुबान पर शहद से भगवान का नाम लिख दिया जाता था। इसके जरिए वो नाम पूरा अंदर ले लेता था। आप चाहें, तो ऐसा भी कर सकते हैं।
उन्होंने माता-पिता को बच्चाें को शुरू से ही भक्ति और धर्म से जोड़ने की सलाह दी है। उनके अनुसार, जैसे संस्कार बच्चे को माता-पिता से मिलते हैं, बच्चा वैसा ही बनता है।
प्रेमानंद महाराज के अनुसार, हिंदू धर्म में देवी देवताओं के नाम पर बच्चों के नाम रख दिए जाते हैं। यह अच्छा और शुभ होता है। इससे बच्चों को भगवान का आशीर्वाद मिलता रहता है।
प्रेमानंद महाराज की माता पिता को सलाह है कि बच्चों के घर का नाम भगवान के नाम पर रखें। इससे आप भगवान का स्मरण भी कर लेंगे और उनका अपमान भी नहीं होगा।